हार्ड डिस्क क्या है | What is Hard Disk in Hindi 2021

हेलो दोस्तों आज हम जानेगे कि हार्ड डिस्क क्या है और इनके प्रकार ( what is hard disk in hindi and its type) साथ ही साथ हार्ड डिस्क की विशेषताएं, लाभ, हानि की भी हम चर्चा करेंगे.

हार्डडिस्क होता क्या है? (what is hard disk in hindi)

हार्ड डिस्क जिसे हार्ड डिस्क ड्राइव (HDD) भी कहा जाता है, हार्ड डिस्क एक सेकेंडरी स्टोरेज डिवाइस है जिसकी सहायता से हम कंप्यूटर पर अपने मीडिया, फाइल, फोटो, विडियो, डॉक्यूमेंट, सॉफ्टवेयर, ऑपरेटिंग सिस्टम को permanently store करते है.

हार्ड डिस्क एक non volatile memory होती है अर्थात इसमें रखा हुआ data कंप्यूटर off होने के बाद भी hard disk पर सुरक्षित रहता है और कभी भी इनका उपयोग, यूजर द्वारा किया जा सकता है.

हार्ड डिस्क एक magnatic storage होती है जो electromagnatic रूप से data store करती है, इसमें एक rotating platter लगा होता है जो data को magnetically रीड और राईट करती है.

हार्ड डिस्क Motherboard में SATA, PATA (IDE), SAS, SCSI interface की सहायता से जुडी होती है.

हमने जाना कि हार्ड डिस्क क्या है? अब जानते हैं कि कंप्यूटर में हार्ड डिस्क का क्या कार्य है यह आवश्यक क्यों है?

कंप्यूटर में हार्ड डिस्क की आवश्यकता क्यों है?

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कंप्यूटर में दो प्रकार की memory होती है एक होती है प्राइमरी memory जैसे कि RAM और ROM.

RAM एक volatile memory होती है और इस पर रखा हुआ data कंप्यूटर पर तब तक ही रहता है जब तक हम कंप्यूटर को off नहीं कर देते हैं, कंप्यूटर off होने पर RAM में रखा हुआ data, delete हो जाता है.

RAM में हम अपने data को permanently store नहीं कर सकते हैं और रैम केवल कंप्यूटर में उपयोग हो रहे प्रोग्राम और सॉफ्टवेयर की आवश्यक files को store करती है जिससे कि cpu को data अधिक तीव्र गति से प्राप्त हो सके और यूजर द्वारा दिया गया task पूर्ण किया जा सके.

data को permanently save करने और आवश्यक प्रोग्राम, सॉफ्टवेयर को कंप्यूटर पर हमेशा सुरक्षित रखने के लिए कंप्यूटर पर hard disk का उपयोग किया जाता है|

कंप्यूटर को चलाने के लिए हमें ऑपरेटिंग सिस्टम की आवश्यकता होती है वैसे तो ऑपरेटिंग सिस्टम की कुछ फाइल RAM में load होती है जिससे की ऑपरेटिंग सिस्टम स्टार्ट किया जा सके किन्तु ऑपरेटिंग सिस्टम को इनस्टॉल करने के लिए हमें हार्ड डिस्क की आवश्यकता होती है, जिसकी सहायता से ऑपरेटिंग सिस्टम चलाया जा सके.

कंप्यूटर पर इन्टरनेट द्वारा डाउनलोड की गयी files, movies, media को store करने के लिए हमें हार्ड डिस्क की आवश्यकता होती है जिसकी सहायता से हम बाद में उन files का उपयोग कर सके.

हार्ड डिस्क में रखा data तब तक सुरक्षित रहता है जब तक यूजर द्वारा files को delete नहीं कर दिया जाता है.

हार्ड डिस्क क्यों आवश्यक है यह जानने के बाद हम यह भी जरूर जानना चाहेगे कि हार्ड डिस्क की क्या विशेषताएं है तो आइये हार्ड डिस्क की विशेषताओ की चर्चा करते हैं.

हार्ड डिस्क की विशेषताएं (Characteristics of Hard Disk in Hindi)

Capacity

जैसे की हमने जाना हार्ड डिस्क कंप्यूटर में रखी सभी files, media, documents को store करने के लिए उपयोग की जाती है तो यह सभी media files बहुत अधिक storage ग्रहण करती है.

ऐसे में हार्ड डिस्क की capacity में समय समय पर बदलाव हुए हैं, mb और gb से लेकर अब हार्ड डिस्क की capacity कई TB होती है, वैसे वर्तमान समय में हार्ड डिस्क 1TB = 1000GB से लेकर 20 TB= 20000 की size (capacity) में उपलब्ध है.

Performance (Speed)

हार्ड डिस्क की performance को RPM (revolutions per minute) से मापा जाता है यदि आपने कभी हार्ड डिस्क देखी है तो आपने हार्ड डिस्क पर 3600, 5400, 7200rpm लिखा हुआ जरूर देखा होगा.

यह rpm दर्शाती है कि एक मिनट में हार्ड डिस्क में लगा हुआ platter कितनी गति से घूमता है, और डाटा read और write करता है.

rpm की गति जितनी अधिक होगी हार्ड डिस्क की performance भी आपको उतनी ही अच्छी प्राप्त होती है.

From Factor

यदि आप वर्तमान में हार्ड डिस्क का उपयोग कर रहे हैं और आपने हार्ड डिस्क देखा है तो आपको पता होगा यह 3.5 inch, 2.5 inch की फॉर्म फैक्टर (size) में उपलब्ध होता है किन्तु पहले हार्ड डिस्क बहुत बड़े और भारी होते थे और इनकी capacity भी बहुत अधिक नहीं होती थी.

portable computer, server, storage array में हार्ड डिस्क के form factor को देखते हुए इनका उपयोग किया जाता है छोटे cabinet और systems में 2.5 inch और बड़े कैबिनेट, सिस्टम, सर्वर पर 3.5 inch हार्ड डिस्क का उपयोग किया जाता है, जिससे इन्हें fit करने में कोई समस्या न हो.

Hard Disk Interface

हार्ड डिस्क को बहुत से interface का उपयोग कर कंप्यूटर से जोड़ा जा सकता है, उनमे से कुछ interface है- SCSI, PATA, SATA, SAS.

1.SCSI Small Computer System Interface

SCSI हार्ड डिस्क interface बहुत ही पुरानी interface है जिसका वर्तमान समय में भी उपयोग किया जाता है, यह interface, backward compatible होता है जो बहुत से डिवाइस को सपोर्ट करता है, इसे 1979 में introduced किया गया था.

SCSI की data transfer speed 650MB/s की होती है.

2.SAS

Serial Attached SCSI एक serial communication protocol है जो scsi से अधिक data transfer speed को सपोर्ट करता है और यह SATA compatible है जो कि SATA की तरह ही data और power connector को सपोर्ट करता है.

3.PATA

parallel advanced technology attachment हार्ड डिस्क को जोड़ने का एक पुराना interface है इसे integrated drive electronics (IDE) भी कहा जाता है.

PATA ड्राइव parallel bus से जुड़े होते हैं, ribbon cable का उपयोग करते हैं, यह 40 pin connector होता है और इनकी सहायता से एक समय में 2 drives को जोड़ा जा सकता है, जैसे HDD और Optical Drive.

PATA 133MB/s की data transfer speed को सपोर्ट करती है.

इसे 1986 में western digital कंपनी द्वारा बनाया गया था, जिसे बाद में SATA ने replace कर दिया.

4.SATA

Serial advanced technology attachment को वर्ष 2001 में लाया गया, जिसने PATA को replace कर दिया.

PATA की तुलना में इसके cable की size छोटी थी और यह low cost और fast data transfer प्रदान करता है, जिसके कारण वर्तमान समय में इस interface का सबसे अधिक उपयोग किया जाता है.

यह 7 pin connector का उपयोग करती है और इसके interface की  speed 6Gbit/s तक होती है और यह 150MB/s से 600MB/s तक की data transfer speed प्रदान करती है.

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हार्ड डिस्क के पार्ट्स (Parts of Hard Disk in Hindi)

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हार्ड डिस्क के parts की अगर हम बात करें तो हार्ड डिस्क में हमें 5 major parts दिखाई देते हैं- platter जो कि data को store करती है, spindle जो platter को spin करती है, read write arm जिसकी सहायता से data को read write किया जाता है, actuator जो कि read write arm को control करता है और logic board जो हार्ड डिस्क के सभी operations को control करती है.

Platter

platter एक गोलाकार डिस्क होती है जो हार्ड डिस्क के अन्दर पाई जाती है, जहाँ 0s और 1s की सहायता से data store की जाती है, यह platter, aluminum, ceramic, glass और magnatic surface द्वारा बनी होती है.

अधिक साइज़ के ड्राइव के लिए एक से अधिक platter का उपयोग किया जाता है, platter में data, tracks, sectors और cylinders द्वारा organized कर store किया जाता है जिससे data को आसानी से ढूंढा जा सके.

Spindle

spindle platter को अपने स्थान पर रखता है और आवश्यकता पड़ने पर rotate करता है, spindle, platters को एक fix distance पर रखता है जिससे कि read write arm द्वारा सरलता से इसे access किया जा सके.

Read Write Arm

read write arm, heads के movement को control करता है जिससे कि head platter पर रखे हुए exact data को read write कर सके.

read write arm यह सुनिश्चित करता है कि heads सहीं स्थान पर हो जहाँ से उसे data को access करना है.

Actuator

actuator या head actuator के छोटा मोटर होता है जो hard disk drive के circuit board से read write arm को control करने का instructions प्राप्त करता है और platter से data transfer को भी supervice करता है.

Logic Board (Circuit Board)

logic board हार्ड डिस्क के बाहर होता है और यह कुछ कुछ motherboard की तरह दिखाई देता है, यह logic board, हार्ड डिस्क के operations को control करता है, जिसमे कई ic chips, होते हैं.

Connector

connector हार्ड डिस्क के circuit board से data को platter तक पहुचाता है जिससे की data read और write की जा सके.

Types of Hard Disk in Hindi

magnetic hard disk drive (internal and external)

solid state drives (internal and external)

hybrid drive

Disk Geometry in Hindi

हार्ड डिस्क ड्राइव में एक या एक से अधिक disks या platters होते हैं जो data को store करते हैं, disk geometry हार्ड डिस्क की platters पर data organization को दर्शाती है.

Geometry यह बताती है कि data कहाँ और किस प्रकार से platters पर store की जाएगी, geometry को 5 तरह से describe किया जाता है.

1.heads 2.cylinders 3.sectors per track 4.write pre-compensation 5.landing zone

Heads

एक हार्ड डिस्क में कितनी heads होगी यह platters के total number पर depend करता है, एक platter को access करने के लिए दो heads की आवश्यकता होती है, एक head ऊपर और दूसरा नीचे के platter surface को access करता है.

उदाहरण के लिए यदि हार्ड डिस्क में 4 platters होगें तो heads की संख्या 8 होगी, एक हार्ड डिस्क में heads की संख्या 16 हो सकती है.

कुछ हार्ड डिस्क manufacturers sector translation technology का उपयोग करते हैं जो हार्ड डिस्क को per platter 2 से अधिक heads रखने की अनुमति देता है, जिसके कारण ड्राइव में एक platter के लिए up to 12 heads भी हो सकते हैं किन्तु maximum एक हार्ड डिस्क में कुल physical heads की संख्या 16 ही होगी.

Cylinders

हर head surface के circular paths पर data को store किया जाता है, इस path को track कहा जाता है, हम यह भी कह सकते हैं कि platter के circular part में data को store किया जाता है उसे track कहते हैं और यह tracks की मात्रा बहुत अधिक होती है.

इन tracks के समूह को cylinders कहा जाता है, cylinders की संख्या drive geometry का एक measurement है किन्तु tracks की संख्या drive geometry का measurement नहीं है.

cylinders की BIOS limit 1024 cylinders है.

Sectors per track

हार्ड डिस्क ड्राइव (HDD) बहुत से छोटे छोटे pie जैसे एरिया में बटा होता है जो कि track का small area होता है जिसे sector कहते हैं.

sector 512 bytes की data को hold कर सकता है, sector, disk geometry के अंतर्गत नहीं आती है, बल्कि disk geometry में एक track में sectors की संख्या का अधिक महत्त्व है.

BIOS limitation के अनुसार एक track में sectors की संख्या 63 है.

Write precompensation

सभी sectors 512 bytes में store किये जाते हैं किन्तु sectors platter के center की तुलना में platter के बाहर की ओर अधिक बड़े होते हैं.

पहले के ड्राइव में physical sector की size को लेकर बहुत समस्या होती थी इसलिए precompensation value को define किया गया जहाँ data write करना precompensation से शुरू होता है.

Landing zone

landing zone उपयोग नहीं हुए cylinder को read write heads के लिए एक parking place की तरह बताता है, यह पुराने हार्ड डिस्क में उपयोग किया जाता है जिनमे stepper motors का उपयोग किया जाता है.

head को park करना इसलिए आवश्यक होता है क्योंकि जब हार्ड डिस्क move करती है तो वह किसी भी प्रकार से damage न हो.

हार्ड डिस्क का इतिहास History of Hard Disk Drive (HDD)

IBM के engineers ने वर्ष 1953 में hard disk drive का निर्माण किया जो कि 2 refrigerators के आकार का था, कंपनी ने वर्ष 1956 में hard disk based पहला कंप्यूटर IBM 305 RAMAC को लांच किया जिसमे 5 MB data store किया जा सकता था, इस storage component को 350 disk storage कहा गया.

ramac disk का diameter 2 फीट था और इसकी एक MB की लगत लगभग $10000 थी, कंप्यूटर की storage technology में यह एक बहुत बड़ा कदम था क्योंकि इसे पहले data magnatic tape में store की जाती थी.

RAMAC में movable read write head होने के कारण पहली बार semirandom data को access किया गया.

वर्ष 1961 में IBM 1301 डिस्क स्टोरेज यूनिट को बनाया गया जो कि head और platter को एक thin layer में float करता था जिससे की storage की density को बढाया गया.

कुछ वर्ष बाद IBM ने पहला removable hard disk drive 1311 को लांच किया, वर्ष 1970 में पहला error correction disk बनाया गया और western digital कंपनी का जन्म हुआ.

वर्ष 1973 में IBM ने 3340 Winchester को लांच किया जो कि पहला sealed hard drive था, पहला redundant array of independent disks (RAID) technology को वर्ष 1978 में लांच किया गया.

वर्ष 1980 में IBM ने पहला 1 gigabyte हार्ड डिस्क ड्राइव को release किया जिसका वज़न 550 pounds था और size एक refrigerator जितना था और इसका मूल्य $40000 था.

इसी वर्ष Seagate ने 5.25 inch hard disk को introduced किया, scottish कंपनी Rodime ने वर्ष 1983 में 3.5 inch hard disk drive को produced किया.

तीन वर्ष बाद small computer system interface (SCSI) standard सामने आया और वर्ष 1988 में PrairieTek द्वारा 2.5 inch की 20 MB की 2 platters वाली हार्ड डिस्क को laptops में उपयोग में लाया गया.

वर्ष 1990 में IBM 0663 corsair drive को लाया गया जो कि 1GB की data को 8.95 mm की disk में store करने में सक्षम था और यह पहला हार्ड डिस्क था जो कि magnetoresistive heads का उपयोग करता था.

वर्ष 1992 में Western Digital में Enhanced IDE हार्ड डिस्क का निर्माण किया जिसके कारण 528 MB के हार्ड डिस्क बैरियर को तोडा गया.

1994 से लेकर 1996 के बीच IBM 1billion bits per square inch डाटा platter पर store करने में सक्षम हो गया और seagate cheetah 10000 rpm पर चलने वाला पहला हार्ड डिस्क ड्राइव बना.

1997 में IBM ने 3.5 inch की 16.8 GB की titan को लांच किया.

वर्ष 2003 में Seagate ने पहला SATA computer bus interface निकाला और western digital ने पहला 10,000 rpm 37 GB, SATA hard disk drive (Raptor) निकाला.

वर्ष 2004 में Toshiba ने 0.8 inch का हार्ड डिस्क निकाला जो कि 2 GB single platter model था, Hitachi ने पहला 500 GB हार्ड डिस्क ड्राइव वर्ष 2005 में shipped किया. और तब से अब तक कई GB (Gigabytes) नहीं बल्कि TB (Terabytes) के हार्ड डिस्क स्टोरेज उपलब्ध हैं.

निष्कर्ष

दोस्तों जैसा कि हमने जाना हार्ड डिस्क एक magnatic disk है जो data को permanently store करने के उपयोग में लायी जाती है, हमने हार्ड डिस्क के भाग parts of hard disk in hindi की चर्चा की और जाना कि हार्ड डिस्क क्या है? कंप्यूटर में इसकी आवश्यकता क्यों हैं? what is hard disk in hindi and its uses.

हार्ड डिस्क कंप्यूटर का एक महत्वपूर्ण भाग है और बिना हार्ड डिस्क के हम कंप्यूटर का उपयोग नहीं कर सकते हैं, हार्ड डिस्क हमारे ऑपरेटिंग सिस्टम को store करने का भी कार्य करती है जिसकी सहायता से हम कंप्यूटर का उपयोग करते हैं.

आप हमें बताएं हार्ड डिस्क क्या होता है यह जानकारी आपको कैसी लगी, और भविष्य में ऐसे ही अच्छे article के लिए हमारे ब्लॉग को फॉलो करते रहें.

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